शिवकुमार
गाजीपुर। सुहेलदेव भारतीय समाज पार्टी और भाजपा में गठबंधन के बाद पूर्वांचल की सियासत बदल गयी है। दोस्त दुश्मन बन गये है और दुश्मन दोस्त बन गये है। सबसे ज्यादा मझधार में सुभासपा के विधायक अब्बास अंसारी फंसे हुए है, एक तो वह जेल में बंद है और दूसरे इस गठबंधन ने उन्हे दोराहें पर खड़ा कर दिया है। पार्टी के साथ रहते है तो भाजपा के वजह से मुसलमान नाराज हो जायेगे और पार्टी छोड़ते है तो विधायकी चली जायेगी। फिलहाल विधायक अब्बास अंसारी विपत्तियो के चक्रव्यूह में फंसे हुए है, वह खुद जेल में है और उनकी पत्नी व पिता भी दूसरे जेल में है। मां और छोटे भाई पर भी गिरफ्तारी के लिए पुलिस लागातार शिकंजा कस रही है। ऐसे विकट परिस्थितियो में अब्बास अंसारी अपने पार्टी के एनडीए से गठबंधन पर क्या फैंसला लेते है यह तो आने वाला समय बतायेगा, लेकिन इस गठबंधन ने अब्बास अंसारी को राजनीति के चक्रव्यूह में फंसा दिया है। ज्ञातव्य है कि अब्बास अंसारी 2022 के विधानसभा चुनाव में समाजवादी पार्टी के समर्थन से छड़ी चुनाव चिन्ह पर मऊ विधानसभा से चुनाव लड़ें थे और करीब 50 हजार मतों से विजय प्राप्त की थी, इस विजय के बाद उन्होने दमदारी से राजनीति में वापसी की लेकिन हेट स्पीच, आय से अधिक सम्पत्ति जैसे कई मामलो में उनके ऊपर शिकंजा कसता गया और वह जेल में बंद हो गये। इसके बाद चित्रकूट जेल में अवैध रूप से मिलने के आरोप में उनकी पत्नी भी गिरफ्तार हो गयी।