गाजीपुर! जमानियां में माह-ए-रमजान का आखिरी अशरा अब महज कुछ दिन और बचा है। नगर कस्बा बाजार एवं मुस्लिम बस्तियों की मस्जिदों में शुक्रवार को अलविदा की नमाज अदा की गई। इस दौरान माह ए रमजान के आखिरी जुमा के मद्देनजर मस्जिद कमेटियों ने सारे इंतजाम मुकम्मल कर लिए गए हैं। मस्जिदों की साफ-सफाई करीब पूरी हो गई है। दरी, चटाई व पानी की समुचित व्यवस्था कर ली गई है। अलविदा जुमा को मस्जिदों में खूब भीड़ उमडी। बता दें कि दोपहर 12:30 बजे से 1.20 बजे तक सभी मस्जिदों में जुमा की नमाज अदा की गई। मस्जिदों में तकरीर और अलविदा का खुत्बा हुआ। इसके बाद जुमा की फर्ज नमाज अदा की गई। सभी मस्जिदों में जुमा की नमाज अदा कर मुल्क की तरक्की आपसी भाईचारगी के लिए दुआ मांगी गई। अलविदा जुमा की सबसे पहली नमाज शाही जामा, नूरी मस्जिद लोदीपुर, हमजा मस्जिद पठान टोली, चार मीनार मस्जिद पठान टोली, एवं स्टेशन बाजार स्थित मस्जिद में सैकड़ों मुस्लिम भाइयों ने अलविदा जुमा की नमाज अदा की। कस्बा बाजार स्थित शाही जामा मस्जिद के सेकेट्री मौलाना तनवीर रजा ने जुमा अलविदा में कहा की तेरे आने से दिल खुश हुआ। अब तेरे जाने से दिल रो रहा है। माहे ए रमजान उन्होंने कहा की अलविदा, अलविदा माहे ए रमजान अलविदा अलविदा जुमे की नमाज के दौरान नमाजियों की आंखें नम थीं। और लबों पर यही अल्फाज थे। एक ओर जहां अलविदा जुमे की नमाज अदा करने की खुशी थी। तो मुकद्दस माह ए रमजान के जाने से हर दिल गमजदा था। उन्होंने बताया कि माह ए रमजान के महीने के आखिरी जुमा को अलविदा या जुमातुल विदा नन्हे मुन्ने के साथ सैकड़ों नमाजियों ने पढ़ी। उन्होंने बताया कि इस माह के हर दिन की अहमियत है। लेकिन जुमा को और दिनों का सरदार कहा जाता है। इसलिए इसकी अहमियत और बढ़ जाती है। रजा ने कहा कि माह ए रमजान के आखिरी जुमा की नमाज से माह ए रमजान के खत्म होने का संदेश मिलता है। नूरी मस्जिद लोदीपुर के हाफिज हाजी असरफ करीम कादरी ने बताया कि कुरआन-ए-पाक में अल्लाह फरमाता है, रोजों की गिनती पूरी करो और अल्लाह की बड़ाई बोलो कि उसने तुम्हें हिदायत फरमाई। जिसके तहत माह ए रमजान हमें दीनदार व परहेजगार बनाने आता है। और मस्जिद व घरों में इबादत का दौर जारी रहता है। रोजा शुरू होते ही तरावीह की नमाज पढ़ी जाती है। मस्जिदों में एतिकाफ में खूब इबादत होती है, कुरआन-ए-पाक की तिलावत जारी रहता है। उन्होंने बताया कि रात में लोग खूब इबादत की और रो-रो कर दुआएं मांगते है। अलविदा जुमा की नमाज में कारी गुलाम नवी, नूरी मस्जिद के हाफिज असरफ करीम कादरी, मौलाना महमूद रिजवी, दानिश मंसूरी, परवेज आलम, वकील राईन, सद्दाम राईन, नेसार अहमद खान वारसी, नेहाल खान, इजहार खान, इमरान नियाजी, तन्नू, जहीर खान, ताबिश मंसूरी, बेलाल मंसूरी, जमाल मंसूरी, कमाल मंसूरी, एजाज मंसूरी, नेहाल मंसूरी, शाहनवाज मंसूरी, शहजाद अली वारसी, फैय्याज मंसूरी, राजू राईन आदि के साथ सैकड़ों मुस्लिम बंधुओं ने मस्जिदों में अलविदा की नमाज अदा किया। इस दौरान सुरक्षा व्यवस्था में कोतवाली पुलिस कर्मी मस्जिदों के बारे ड्यूटी पर तैनात रहे।
